______________________________________________________________" मैंने लिखे हैं , तमाम _ हाइकू /हाईगा /तांका / चोका /सेदोका /सॉनेट और कविताएँ :)"_____ डॉ. प्रतिभा स्वाति" __________________________________ ______________
Monday, 5 August 2013
चोका : सुनो कबीर
सुनो कबीर ! रे , सुन भई साधो ! कलयुग है ! मात -पिता को , अब मान नहीं है ! सब ही अंधे, कोई ज्ञान नही है ! - -----------जारी ------------ -----------------------------------डॉ . प्रतिभा स्वाति
wlcm
ReplyDeletethnx ravi sr ------------ par ye rachna abhi adhuri h / mae rat tk puri kar dungi
ReplyDeleteसुनो कबीर
ReplyDeleteवो जो आधी रात को
लगा रहे घात जो !
शत्रु देश के
सरहद पे धोखा !
नेता के घर खोखा !
-------------------------------------डॉ . प्रतिभा स्वाति